सोमवार, 30 जून 2025

4TH Mahe Muharram2025: Varanasi main मजलिसों और जुलूस का दौर हुआ तेज़

सदर इमामबाड़े पहुंचा चौथी मोहर्रम का कदीमी जुलूस

जुलूस के रास्तों में हो रही है दुश्वारियां 

शिवाला के जुलूस में हुआ जोरदार मातम


सरफराज अहमद 

Varanasi (dil India live). ३० जून यानी चार मोहर्रम पर सोमवार को हर तरफ मजलिसों में इमाम हुसैन के दोस्त हबीब इब्ने मज़हिर की जिंदगी पर रौशनी डाली गई। कालीमहल में तकरीर करते हुए शिया जामा मस्जिद के प्रवक्ता हाजी फरमान हैदर ने बताया कि इमाम हुसैन ने अपने 80 साल के अजीज दोस्त को खत लिखकर कूफे से बुलाया था। उनकी दोस्ती आज भी सारी दुनिया के लिए मील का पत्थर है। इस दौरान पहला जुलूस इम्तियाज हुसैन नकवी के चौहट्टालाल खान स्थित इमामबाड़े से निकला। जुलूस में अलम, ताबूत शामिल था जिसकी जियारत करने लोगों का हुजूम उमड़ा। जुलूस मस्जिद और इमामबाड़ा चौहट्टा लाल खान में जाकर समाप्त हुआ। अंजुमन आबिदिया ने जुलूस की अगवाई की। वहीं दूसरा जुलूस शिवाला के मोहल्ला क्रीमकुंड से सैयद आलिम हुसैन रिज़वी के संयोजन में उठाया गया। जुलूस अपने कदीमी रास्तों से होता हुआ गौरीगंज में वरिष्ठ पत्रकार काजिम रिज़वी के इमामबाड़े पर जाकर समाप्त हुआ। इस मौके पर अंजुमन गुलज़ारे अब्बासिया, समेत कई अंजुमनों ने नौहाखवानी व मातम का नज़राना पेश किया। वहीं अंतिम जुलूस चौहट्टा लाल खान मस्जिद से अलम दुलदुल व ताबूत का उठाया गया। जुलूस में अंजुमन आबिदिया, अंजुमन सज्जादिया तथा अंजुमन हाशिमिया ने नोहा ख्वानी व मातम के साथ शहीदाने कर्बला को खेराजे अकीदत पेश किया। मौलाना बाकर बलियावी, डा. शफीक हैदर, मंजर नकवी ने मजलिसों को खिताब किया। शिया जामा मस्जिद के प्रवक्ता सैयद फरमान हैदर ने कहा कि जुलूस मार्ग में ढेरों दुश्वारियां हैं जिला प्रशासन मीटिंग में बड़ी बड़ी बातें करता है मगर हर बार जुलूस दुश्वारियों के बीच निकाला जाता है। इस अव्यवस्था से मुस्लिमों में रोष है।

पांचवीं मोहर्रम को निकलेगा अलम

इस सिलसिले से फरमान हैदर ने बताया कि पांचवीं मोहर्रम को छत्तातले से अलम का जुलूस अंजुमन हैदरी के जेरे इंतजाम उठाया जाएगा। स्वर्गीय wajjan खान के परिवार के सदस्य मर्सिया पढ़ेंगे। शहनाई पर आंसुओं का नजराना पेश होगा। वहीं अर्धाली बाजार में हाजी अबुल हसन के निवास से ६ महीने के शहीद अली असगर का झूला उठाया जाएगा। अंजुमन इमामिया नोहा मातम करेगी। पांच मोहर्रम को ही रामनगर से महाराज बनारस के द्वारा स्थापित किया गया मन्नत का जुलूस भी उठाया जाएगा। ये जुलूस अहले सुन्नत हजरत भी उठते हैं।

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