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गुरुवार, 14 सितंबर 2023

DAV PG College: हिन्दी दिवस पर हुआ काव्य पाठ सह परिचर्चा

'जब शाम ढ़ले, यादों के जुगनू चमकेंगे...'




Varanasi (dil India live).14.09.2023. हिन्दी दिवस पर गुरुवार को डीएवी पीजी कॉलेज में हिन्दी विभाग के तत्वावधान में काव्य पाठ सह परिचर्चा का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में महाविद्यालय के अध्यापकों एवं विद्यार्थियों ने कविता पाठ कर हिन्दी के प्रति अपने भाव प्रकट किया। हिन्दी विभाग के डॉ. राकेश कुमार द्विवेदी ने सर्वप्रथम 'उजालो के दीपक जलाते रहेंगे, हिंदी दिवस मनाते रहेंगे', 'ढूंढा तुझे गली-गली चित चोर', 'जब शाम ढले यादों के जुगनू चमकेंगे, तुम रोक न पाओगे दिल को धड़कने से' आदि कविताएं सुना कर सबको मंत्र मुग्ध कर दिया। इसके उपरांत प्रोफेसर ऋचारानी यादव ने 'भाग का भूखा हूं मैं और भाग का ही सार है' सुनाया, डॉक्टर संगीता जैन ने एक बालक के मर्म को समझाते हुए 'ओ माँ, कहां हो तुम' सुनाकर सबको भाव विभोर कर दिया। छात्र कौस्तुभ ने में 'हिंदी हूं मैं हिंदी हूं' सुनाया, उसके अलावा छात्र सत्यम कुमार, राजन झा, रत्नेश यादव, अमरेश आदि ने भी काव्य पाठ किया।

कार्यक्रम में मुख्य वक्तव्य देते हुए महाविद्यालय के कार्यकारी प्राचार्य प्रोफेसर सत्यगोपाल जी ने कहा कि आज की युवा पीढ़ी हिन्दी के महत्व को समझ नहीं रही है, हमें अपनी मातृभाषा के प्रति गर्व की अनुभूति होनी चाहिए। हिन्दी को पिछड़ने से बचाना है तो हमें दूसरी भाषाओं का भी ज्ञान भी आवश्यक है। हिंदी भाषाओ के इंद्रधनुष के समान है जिसमें सभी रंग विद्यमान है। विभागाध्यक्ष प्रोफेसर राकेश कुमार राम ने कहा कि हिंदी आज दबाव में है, उस पर अपनी व्यवसायिकता सिद्ध करने का दबाव महसूस किया जा रहा है, बल्कि हिंदी हमारी अस्मिता की भाषा है।

अध्यक्षता करते हुए वरिष्ठ अध्यापक प्रोफेसर मिश्रीलाल ने कहा कि भाषा व्यक्ति को उन्नति के शिखर पर पहुंचा सकती है। जब हम अपनी संस्कृति, अपनी भाषा को ही व विस्मृत कर देंगे तो शायद मनुष्यता ही समाप्त हो जाए। हमें अपनी भाषा के प्रति सम्मान का भाव रखना होगा। कार्यक्रम का संचालन डॉक्टर विश्वमौली ने किया। इस अवसर पर मुख्य रूप से डॉक्टर हबीबुल्लाह, प्रोफेसर सतीश कुमार सिंह, डॉ. दीपक कुमार शर्मा, डॉ. शालिनी, डॉक्टर त्रिपुर सुंदरी, डॉक्टर नाहिद फातिमा आदि ने भी विचार व्यक्त किया। 

शनिवार, 9 सितंबर 2023

Hindi Bhasha खड़ी बोली के जनक भाषाचार्य भारतेंदु हरिश्चंद्र की 173 वीं जयंती मनी



Varanasi (dil India live). 09.09.2023. शनिवार को हिंदी भाषा खड़ी बोली के जनक भाषाचार्य भारतेंदु हरिश्चंद्र की 173 वीं जयंती उनके निजी आवास चौखम्बा में भावपूर्ण मनाई गई. जयंती समारोह में नगर के कवि, साहित्यकार व समाजसेवियों ने काशी के लाल को पुष्प अर्पित कर भावभीनी श्रद्धांजलि दी।


अध्यक्षता करते हुए वरिष्ठ साहित्यकार डॉ. जितेंद्र मिश्रा ने कहा भारतेंदु हरिश्चंद्र हिंदी खड़ी बोली के साथ-साथ स्वाधीनता की चेतना भी जागृत किया. वह काशी के गौरव और भारत के एक रत्न थे। विशिष्ट अतिथि डॉक्टर अत्रि भारद्वाज ने कहा कि भारतेंदु जी बहुमुखी प्रतिभा के आयामी थे वह भाषा के लोकपाल थे. इस मौके पर उनके चित्र पर अतिथियों ने माल्यार्पण किया गया. 

गोष्ठी में मुख्य रूप से कविता म्बारा साहित्यिक पत्रिका के संपादक मधुकर मिश्र, साहित्यकार डॉक्टर जयशंकर जय, कवि सिद्धनाथ शर्मा, कवि पंडित भोलानाथ त्रिपाठी, महेंद्र अलंकार,  परमहंस तिवारी, रमेश चौबे, मयंक चतुर्वेदी आदि लोग उपस्थित थे. संचालन दीपेश चौधरी व धन्यवाद ज्ञापन मालिनी चौधरी ने किया.                   

तुलसी विवाह पर भजनों से चहकी शेर वाली कोठी

Varanasi (dil India live)। प्रबोधिनी एकादशी के पावन अवसर पर ठठेरी बाजार स्थित शेर वाली कोठी में तुलसी विवाह महोत्सव का आयोजन किया गया। श्री ...