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सोमवार, 10 फ़रवरी 2025

Kumbh भक्ति एवं आस्था संग आध्यात्मिक एवं नैतिक चेतना जागृत करने वाला महामेला

महाकुंभ-सनातन दृष्टि विषयक संगोष्ठी में विशेषज्ञों ने रखे विचार 

Varanasi (dil India live). महाकुंभ का पर्व केवल भक्ति एवं धार्मिक आस्था का स्नान पर्व तथा सनातनी महोत्सव नहीं है। यह भक्ति एवं आस्था के साथ ज्ञान-विज्ञान, योग और भोग, संग्रह एवं त्याग का विवेक विकसित करने वाला विशुद्ध आध्यात्मिक एवं नैतिक चेतना को जागृत करने वाला एक महामेला है। आज संपूर्ण मनुष्यता के समक्ष जो भौतिक-अभौतिक तत्व चुनौती बनकर खड़े हैं उनमें से अधिकांश का निराकरण आस्था के इस महासंगम से संभव हो सकता है। यह एक ऐसा सांस्कृतिक अनुष्ठान है जो असंख्य प्राणियों को अस्ति -नास्ति के द्वंद से मुक्त कर आत्मिक सबलता प्रदान करता है।


भारतीय जनमानस की आस्था के आख्यान पर्व पर केंद्रित वाराणसी के कमच्छा स्थित वसंत कन्या महाविद्यालय में भारतीय सामाजिक विज्ञान अनुसंधान परिषद्, नई दिल्ली द्वारा प्रायोजित ‘महाकुंभ- सनातन दृष्टि’ शीर्षक एक दिवसीय अंतरराष्ट्रीय संगोष्ठी में यह बातें वक्ताओं ने कही।

आयोजन में विशेषज्ञों द्वारा आत्मिक शांति एवं आध्यात्मिक विकास के लिए भारत की ओर देख रहे संपूर्ण विश्व की दृष्टि की परिकल्पना, कारण तथा उद्देश्य पर गहन विमर्श किया गया। जिसके उद्घाटन सत्र में सनातन धर्म की विराट चेतना को संदर्भित करते हुए महाविद्यालय की प्राचार्या प्रो. रचना श्रीवास्तव ने सभी अतिथियों के स्वागत से कार्यक्रम की औपचारिक शुरुआत करते हुए १४४ वर्ष पर होने वाले महाकुंभ के पौराणिक और खगोलीय महत्व को बताने के साथ इसे सनातन धर्म की परंपरा का संवाहक बताया। आपने महाविद्यालय की प्रेरणा स्रोत डॉ एनी बेसेंट की पुस्तक सनातन धर्म का भी उल्लेख किया जिसका आज की युवा पीढ़ी द्वारा अध्ययन किया जाना चाहिए।


मुख्य अतिथि आई. सी .एस .एस. आर.,एन .आर .सी. ,नई दिल्ली के डायरेक्टर प्रो. हीरामन तिवारी ने आभासी माध्यम से इतिहास और भारतीय परम्पराओं में महाकुंभ की स्थिति को बताते हुए जनमानस के आध्यात्मिक संरचना के निर्माण का उल्लेख किया। मुख्य वक्तव्य के रूप में श्रोताओं ने एस. वी .डी. वी. (का. हि. वि.वि.) के प्रो. विनय कुमार पाण्डेय के विचारों को सुना। उन्होंने ग्रहों की स्थितियों को बतलाते हुए गणितीय आधार से कुभ के महात्म्य को स्पष्ट किया। अध्यक्षीय संबोधन भोजपुरी अध्ययन केंद्र (बीएचयू) के संस्थापक, पूर्व कुलपति, एस. एस. पी. यू.,भिलाई एवं हिंदी विभाग (बीएचयू) के भूतपूर्व अध्यक्ष प्रो. सदानंद शाही द्वारा दिया गया। उन्होंने बताया कि मोक्ष विशिष्ट होने में नही बल्कि सामान्य होने में है तथा यही कुंभ आयोजन की सार्थकता है। साथ ही उन्होंने महाविद्यालय को काशी में इस तरह के विषय पर होने वाले प्रथम बौद्धिक समागम के लिए बधाई दी।


प्रो. बृजभूषण ओझा ने संगम की बात करते हुए सरस्वती को अंतःसलिला कहा जो संतों की वाणी में दृष्टिगोचर होती है। प्रो. धर्मेन्द्र कुमार दूबे ने इतिहास में उल्लिखित कुंभ संस्कृति की चर्चा की वहीं प्रो. एन.के. मिश्रा ने महाककुंभ से होने वाले आर्थिक लाभ एवं प्रबंधन की ओर सबका ध्यान आकर्षित किया। प्रो. भास्कर भट्टाचार्या ने आध्यात्मि ऊर्जा के वैज्ञानिक महत्त्व पर व्याख्यान देते हुए ग्रहों के दशा से उत्पन्न आई आर विकिरणों की बात करते हुए कुंभ में स्नान के महत्व को रेखांकित किया। 


समापन सत्र में डाॅ. नन्दिता शास्त्री ने कहा कि कुंभ मेला आध्यात्मिक से कहीं बढ़कर संस्कृतियों, परंपराओं और भाषाओं का एक जीवंत मिश्रण है, जो एक ‘लघु भारत’को प्रदर्शित करता है, जहाँ लाखों लोग बिना किसी औपचारिक निमंत्रण के एक साथ आते हैं। विधायक सौरभ श्रीवास्तव ने बताया कि 2017 में यूनेस्को द्वारा अमूर्त सांस्कृतिक विरासत के रूप में मान्यता प्राप्त, कुंभ मेला बहुत अधिक ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्व रखता है। तीर्थयात्री न केवल आध्यात्मिक अनुष्ठानों की एक श्रृंखला में शामिल होंगे, बल्कि एक ऐसे सफर पर भी निकलेंगे जो भौतिक, सांस्कृतिक और यहाँ तक कि आध्यात्मिक सीमाओं से परे है। शहर की जीवंत सड़कें, चहल-पहल भरे बाजार और स्थानीय व्यंजन इस अनुभव में एक समृद्ध सांस्कृतिक परत जोड़ते हैं।

नई दिल्ली से आभासी माध्यम से जुड़़े प्रो. राकेश उपाध्याय ने बताया कि प्रयागराज का समृद्ध ऐतिहासिक, सांस्कृतिक और आध्यात्मिक ताना-बाना, अत्याधुनिक सुविधाओं के साथ मिलकर तीर्थयात्रियों को आस्था, एकता और भक्ति का एक अद्वितीय अनुभव प्रदान करता है । आयोजन की सतर्क योजना और परंपरा के साथ आधुनिक तकनीक का मेल कुंभ मेले को नई ऊंचाइयों पर ले जाता है जो बड़े पैमाने पर आध्यात्मिक और सांस्कृतिक समारोहों की मेजबानी के लिए एक वैश्विक मानक स्थापित करेगा। 

काशी के मेयर अशोक तिवारी ने कहा कि 2025 का महाकुंभ मेला भारत की स्थायी आध्यात्मिक विरासत और विविधता और सद्भाव का जश्न मनाने की उसकी प्रतिबद्धता का एक शक्तिशाली प्रतीक बना रहेगा।

कार्यक्रम का संचालन प्राचीन भारतीय इतिहास की सहायक आचार्य डॉ. आरती चैधरी द्वारा किया गया। संगोष्ठी की संयोजिका द्वय प्रो. पूनम पाण्डेय एवं डॉ. नैरंजना श्रीवास्तव रहीं। यह संगोष्ठी चार सत्रों में संचालित हुई जिसमें समानांतर चल रहे तकनीकी सत्रों में लगभग 100 प्रतिभागियों ने प्रतिभागिता की।

शुक्रवार, 31 जनवरी 2025

Ghazipur में सड़क दुघर्टना में आठ की मौत से मचा कोहराम

कुंभ से लौट रहे थे सभी, चीख पुकार के बीच पहुंचे वरिष्ठ अधिकारी 


Mohd Rizwan 

Ghazipur (dil India live)। प्रयागराज कुंभ मेले से लौट रहे श्रद्धालुओं की पिकअप वैन‌ को एक अनियंत्रित ट्रक ने टक्कर मार दी है, जिसमें आठ लोगों की मौत की खबर है और अन्य सभी लोग घायल हो हैं। हादसा उत्तर प्रदेश के गाज़ीपुर के नंदगंज थाने के पास कुसमी कला इलाके में हुआ है।

मिली जानकारी के अनुसार दुर्घटना के समय पिकअप वैन में लगभग 24 श्रद्धालु यात्री सवार थे। तभी ट्रक ने पिकअप को धक्का मार दिया। धक्का लगने के बाद हर तरफ चीख पुकार शुरू हो गई। आसपास के लोगो ने दौड़ कर दुर्घटनाग्रस्त लोगो को मदद पहुचाई। बताया जा रहा है कि दुर्घटना में कुल 6 लोगो की मौत हो गई है। 13 अन्य घायल बताये जा रहे है।

दुर्घटना में सभी घायल बांसगांव गोरखपुर के बताए जा रहे हैं। मृतकों के नाम अभी जानकारी में नहीं आये है। समाचार लिखे जाने तक सभी 13 घायलों का इलाज गाज़ीपुर मेडिकल कॉलेज में चल रहा है। मिल रही जानकारी के अनुसार इनमे कई गंभीर रूप से घायल भी है। दुर्घटना के सम्बन्ध में जिलाधिकारी गाज़ीपुर आर्यका अखौरी ने बताया है कि ये सभी लोग कुंभ से नहा कर आ रहे थे।

हादसे में मरने वाले सभी श्रद्धालु गोरखपुर जिले के बांसगांव थाना क्षेत्र के हरदीचक गांव के निवासी थे। मृतकों में एक बच्ची, तीन महिलाएं और चार पुरुष शामिल हैं। उनकी पहचान इस प्रकार है:

अमर सिंह (45) पुत्र शंभू सिंह

नित्या सिंह (5) पुत्री अमर सिंह

सुधा चौरसिया (55) पत्नी त्रिलोकी चौरसिया

सुरेंद्र गुप्ता (54) पुत्र रामप्यारे गुप्ता

लीलावती (40) पत्नी सिधु गुप्ता

श्याम सुंदर (45) पुत्र शहजादे सिंह

पुष्पा देवी (स्नेहलता) (40) पत्नी अजय यादव

गुलाबी देवी (45) पत्नी रविंद्र यादव

घटनास्थल पर जिला अधिकारी आर्यका अखौरी समेत प्रशासनिक अधिकारी भी पहुंचे और हालात का जायजा लिया। पुलिस मामले की जांच कर रही है और डंपर चालक की तलाश जारी है।

इनरव्हील सृष्टि के सदस्यों ने महिला पुलिसकर्मियों को बेहतर कार्य के लिए किया समम

महिला दिवस पर जुटी महिलाएं, हुए अनेक आयोजन  मोहम्मद रिजवान  Varanasi (dil India live). आज अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर इनरव्हील क्लब...