Mohd Rizwan
Varanasi (dil India live). सेंटर फॉर जेनेटिक डिसऑर्डर्स (C.G.D), बीएचयू में कार्यरत, डॉ. चंदना बसु को प्रतिष्ठित विज्ञान पत्रिकाओं में से एक, ई-लाइफ की ग्लोबल साउथ कमेटी का सदस्य चुना गया है। डॉ. बसु अफ्रीका, एशिया, कैरिबियन और लैटिन अमेरिका के 10 उत्कृष्ट वैज्ञानिकों द्वारा संचालित समिति में शामिल हुई हैं। डॉ. बसु भारतीय उपमहाद्वीप का प्रतिनिधित्व करेंगी।
इस ग्लोबल साउथ कमेटी का मुख्य उद्देश्य उत्कृष्ट शोधों को ओपन पब्लिशिंग और रिव्यु के बारे में विज्ञानियों में जागरूकता बढ़ाकर “ओपन साइंस” को बढ़ावा देना है। इस समिति का उद्देश्य अच्छे शोधों को लोगों का समर्थन प्रदान करना और लोगों तक पहुचाना है। इससे शोध में पारदर्शिता, सहयोग और समावेशिता को बढ़ावा मिलेगा और ग्लोबल साउथ शोधकर्ताओं के लिए अवसरों में सुधार आएगा।
डॉ चंदना ने बताया की वह कमेटी में साउथ एशिया के महिला वैज्ञानिकों के लिए खास तौर पर कार्य करेंगी और उनके अन्दर एक वैज्ञानिक को विकसित करने का प्रयास करेंगी। इसके अलावा प्रत्येक महाद्वीप से शोध प्रतिनिधित्व को जोड़ेंगी और युवाओ में शोध, चुनौतियों का सामना करना और उनका समाधान करने को प्राथमिकता देंगी, जिससे ग्लोबल साउथ के शोधकर्ताओं के अवसरों में सुधार हो सके।
बीएचयू के सी.जी.डी के संस्थापक समन्वयक प्रोफेसर राजीव रमन ने कहा, "यह जानकर बहुत खुशी हो रही है कि डॉ. चंदना को ईलाइफ की ग्लोबल साउथ समिति के लिए चुना गया है। यह चंदना की शैक्षणिक उत्कृष्टता और विज्ञान को बड़े पैमाने पर समाज तक ले जाने की उनकी प्रतिबद्धता की सराहना करता है। मुझे विश्वास है कि ई-लाइफ समिति के सदस्य के रूप में, डॉ. चंदना विज्ञान में समावेशिता और पारदर्शिता को बढ़ावा देने में योगदान देंगी।
बीएचयू के सी.जी.डी के समन्वयक, डॉ अख्तर अली ने कहा, “डॉ. चंदना बसु एक उत्कृष्ट वैज्ञानिक हैं और मानव आनुवंशिकी के क्षेत्र में उनके काम का वैश्विक स्तर पर सराहा जा रहा है। यह हमारे केंद्र के लिए बहुत ही गर्व का क्षण है और आशा है कि इस नई भूमिका में उनका योगदान भारतीय शोधकर्ताओं की मदद करेगा और हमारे राष्ट्र की सेवा करेगा।"