निभाई गयी परम्परा, बिशप ने धोएं शिष्यों के चरणवाराणसी (दिल इंडिया लाइव)। पाम संडे बीतने के बाद आज थर्स डे पर चर्चेज़ और गिरजाघरों में प्रभु भोज्य का जहां लोगों में प्रसाद वितरित हुआ वहीं दूसरी ओर बिशप ने अपने शिष्यों का चरण खुद धोकर सैकड़ों साल पुरानी परम्परा को आगे बढ़ाया। कार्यक्रम का संयोजन फादर। विजय शांति राज ने किया।
दरअसल प्रभु यीशु अपने रोमी सैनिकों के हाथों गिरफ्तार किए जाने से पूर्व अपने शिष्यों के साथ अंतिम बार भोजन करने बैठे थे। इस दौरान यीशु ने एक रोटी के टुकड़े को उठाया और कहा ये मेरा शरीर है, इसके बाद रोटी को तोड़ा और अपने बारह शिष्यों में उसे बांट दिया। वहां पर उन्होंने नम्रता एवं दीनता के साथ लोगों की सेवा करने का संदेश दिया और अपने शिष्यों के पैरों को धोया। इसी रात्रि को कुछ समय के उपरान्त यीशु मसीह के ही चेलों में से एक यहूदा इस्करियोती ने यीशु मसीह को रोमी सैनिकों द्वारा पकड़वाया। यीशु मसीह को रोमी प्रशासन तंत्र एवं उस समय के धर्म गुरुओं ने क्रूस पर चढ़ाने का निर्णय लिया। ये सारी प्रक्रिया सेंट मेरीज़ महागिरजा में पवित्र वृहस्पतिवार के रुप में मनायी गई है। जिसमें यीथु अपने शिष्यों का पैर धोते है और प्रभु भोज्य का प्रसाद बांटते हैं।
गुड फ्राइडे को प्रभु चढ़ाये गए थे क्रूस पर
ये ही वो दिन है जिस दिन प्रभु यीशु मसीह को गोल्गथा नामक पहाड़ पर जो की कलवारी नमक स्थान पर स्थित है क्रुस पर चद़ाया गया। इस घटना से पूर्व प्रभु यीशु मसीह को रोमी सैनिकों एवं धर्मगुरुओं द्वारा अत्यंत वेदनाओं एवं दुर्व्यवहार का सामना करना पड़ा और अंत में क्रूस पर प्रभु यीशु मसीह ने अपने प्राण त्याग दिए।
क्रूस पर दिए प्रभु ने सात वचन
क्रूस पर से यीशु ने सात दिव्य वचन कहे जिनको गुड फ्राईडे के दिन प्रार्थना सभाओं में स्मरण किया जाता है। यीशु मसीह के मानने वाले इन वचनों को आत्मसाध कर जीवन मैं अपनाने का संकल्प लेते हैं। मसीहियों का ये विश्वास है कि इस दिन को शुभ शुक्रवार इसलिए कहा जाता है क्यूंकि इस दिन प्रभु यीशु ने समस्त मानव जाती को उनके पापों से बचाने के लिए अपने प्राण दिए और सभी को उद्धार का अवसर प्रदान किया।
ईस्टर पर जी उठे थे प्रभु यीशु
मसीहियों के विश्वास के अनुसार ईस्टर वो दिन है जिस दिन प्रभु यीशु मसीह मृतिकों में से जी उठे। यह दिन हर्ष एवं उल्लास का दिन है। इस दिन सभी गिरजाघरों में विशेष प्रार्थना सभाओं का आयोजन किया जाता है। कई जगहो पर इस दिन प्रभात फेरी भी निकाली जाती है और समस्त लोगों को पभु यीशु के जी उठने का संदेश दिया जाता है।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें