गुरुवार, 28 अप्रैल 2022

स्कूल चलो अभियान:दो करोड़ बच्चों का नामांकन लक्ष्य



वाराणसी (दिल इंडिया लाइव)। मुख्यमंत्री के स्कूल चलो अभियान के दो करोड़ नामांकन लक्ष्य को हासिल करना हम सभी की प्रतिबद्धता है, इस तरह के आयोजन निश्चित ही जनमानस को शिक्षा के प्रति जागरूक करने व लक्ष्य प्राप्ति में सहायक होंगे l उक्त बातें मण्डलीय सहायक शिक्षा निदेशक (बेसिक), वाराणसी मण्डल डॉ अवध किशोर सिंह ने  मॉडल प्राथमिक विद्यालय द्वारा आयोजित स्कूल चलो अभियान जन जागरण रैली एवं नामांकन उत्सव में बतौर  मुख्य अतिथि कही l

     ज्ञातव्य हो कि शासन की मंशानुरूप प्रदेश को दो करोड़ नामांकन का लक्ष्य रखा गया है तत्क्रम में जन जागरूकता रैली एव नामांकन उत्सव की अध्यक्षता कर रहे *मा0 विनोद कुमार उपाध्याय जी प्रमुख,क्षेत्र पंचायत-हरहुआ ने विद्यालय के प्रयासों एवं परिसर की हरियाली से अभिभूत होकर कहा कि पंचायत स्तर पर सरकारी विद्यालयों की समस्याओं के त्वरित निस्तारण हेतु मैं कृत संकल्पित हूँ l शिक्षकों द्वारा होलापुर, ऐढ़े सहित अन्य विद्यालयों में रिबोर की समस्या बताने पर तत्काल निस्तारित कराने का आश्वासन दिया l कार्यक्रम की शुरुआत माँ सरस्वती व माँ भारती के चित्र पर माल्यार्पण व अतिथियों के स्वागत माल्यार्पण,अंगवस्त्रम व स्मृति चिन्ह देकर हुआ l

 रैली में विद्यालय के बच्चों द्वारा जगह- जगह प्रस्तुत नुक्कड़ नाटक : सब पढ़े, सब बढ़ें के बोल --। पढ़ लो स्कूलों में हक़ से, सरकारी स्कूलों में मुफ्त की शिक्षा व अनेकों सुविधाएं अलग से... l

 साथ ही बच्चों के गगन भेदी नारों ने लोगों को खूब आकर्षित किया। रैली विद्यालय से निकलकर यादव बस्ती, ठकुरान, पन्ना विहार कॉलोनी होते हुए हरिजन बस्ती में पहुंची जहाँ प्रभावित अभिभावक मौके पर ही चार बच्चों का विद्यालय में प्रवेश कराया। 

रैली में सर्व श्री शिव कुमार चौबे, डॉ आर आर शर्मा पूर्व उपनिदेशक स्वास्थ्य, उत्तर प्रदेश, जय शंकर सिंह, वैदेही सिंह, बेच कुमार सिंह, रीतेश सिंह, संगीता उज्जैन, अंशू सिंह, मनोज सिंह, लाल बहादुर, राजीव सिंह,शैलेंद्र विक्रम सिंह,अखिलेश पाण्डेय सहित आँगनबाड़ी, आशा, ए एन एम सहित शिक्षक व अभिभावक प्रतिभाग किये l कार्यक्रम का संचालन शैलेन्द्र विक्रम सिंह राज्य शिक्षक पुरस्कार '2019 सम्मानित प्रधानाध्यापक ने किया।

नींद की आगोश में "बिजली" का 'झटका'

हंकार टोला की गलियों में चला चेकिंग अभियान

बिजली चोरी में 11 लोगो के खिलाफ दर्ज करायी गयी है एफआईआर

वाराणसी (दिल इंडिया लाइव)। बिजली चोरी करने वालों के लिए ‘खास खबर’। विजिलेंस की टीम अब भोर में छापेमारी कर रही है। अगर आप बिजली चोरी कर रहे हैं तो सुधर जाएं, नहीं पता चलेगा आप नींद में हैं और आपके घर छापा पड़ गया। ऐसा हम नहीं कहते, बिजली विभाग के लोग इस तरह की कार्रवाई शुरू कर दिए हैं। छापेमारी करने वाली टीम में शामिल लोगों का कहना था कि यह अभियान आगे भी जारी रहेगा।

दरअसल, हंकार टोला में बुधवार की भोर में बिजली विभाग सहित विजिलेंस टीम ने छापा मारा। छापेमारी में करीब 11 लोग गलत तरीके से बिजली का इस्तेमाल करते हुए पकड़े गए। भोर में पहुंची विजिलेंस टीम और फोर्स को देखकर मोहल्ले में हड़कंप मच गया। टीम में शामिल लोगों ने वीडियो रिकॉर्डिंग के साथ एविडेंस के लिए फोटोग्राफी भी कराई।

छापेमारी करने वाली टीम में शामिल बेनिया पावर हाउस के जेई- पिन्टू कुमार सिंह ने बताया कि पिछले कई दिनों शिकायत मिल रही थी जिस पर भोर में छापे मारी की गई। इसमें 11 लोग अवैध रूप से डारेक्टर कटिया कनेक्शन करते पकड़े गए। इन लोगो पर बिजली चोरी के आरोप में एफआईआर दर्ज कराई गई साथ ही बताया की आगे भी करवाई जारी रहेगी।

बुधवार, 27 अप्रैल 2022

स्मार्ट क्लास में पढ़ेंगे आंगनबाड़ी के बच्चे

जनपद के 500 आंगनबाड़ी केन्द्रों पर चलेगी स्मार्ट क्लास

  • 302 केन्द्रों पर स्मार्ट क्लास शुरू, बच्चे ले रहे पढ़ाई में रुचि 
  • जनपद के 500 आंगनबाड़ी केन्द्रों पर चलेगी स्मार्ट क्लास3
  • 02 केन्द्रों पर स्मार्ट क्लास शुरू, बच्चे ले रहे पढ़ाई में रुचि  



वाराणसी, 27 अप्रैल (दिल इंडिया लाइव)।प्राइमरी विद्यालयों की तर्ज पर अब आंगनबाड़ी केंद्रों पर भी तीन से छह वर्ष तक के बच्चों को स्मार्ट तरीके से प्री स्कूल शिक्षा प्रदान की जाएगी । इसके लिए जनपद के 500 आंगनबाड़ी केन्द्रों पर स्मार्ट क्लास की स्थापना की जा रही है।  

     जिला कार्यक्रम अधिकारी (डीपीओ) डीके सिंह ने बताया कि नई शिक्षा नीति के तहत बाल विकास सेवा एवं पुष्टाहार विभाग के अंतर्गत संचालित आंगनबाड़ी केंद्रों को प्री प्राइमरी सेंटर के रूप में विकसित करने के लिए शासन की ओर दिशा-निर्देश प्राप्त हुये हैं। इस क्रम में जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा के निर्देशन में आंगनबाड़ी केंद्रों का नवीनीकरण शुरू कर दिया गया है। इस योजना के अंतर्गत प्रथम चरण में जनपद के 500 आंगनबाड़ी केंद्रों पर स्मार्ट क्लास की व्यवस्था शुरू की जा रही है। वर्तमान में जनपद के 302 आंगनबाड़ी केंद्रों पर सभी आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध करा स्मार्ट क्लास शुरू की जा चुकी हैं। बाकी 198 केंद्रों पर कार्य प्रगति पर है। पहले चरण में जिन केंद्रों पर यह व्यवस्था उपलब्ध कराई गई है उसमें आदर्श ब्लॉक सेवापुरी के 73, आराजीलाइन के 92, हरहुआ के 27, काशी विद्यापीठ के 47, पिंडरा के 22, बड़ागांव के 20, चोलापुर के 13 एवं चिरईगांव के 8 आंगनबाड़ी केंद्र सम्मिलित हैं। 

    डीपीओ ने बताया कि प्रत्येक आंगनबाड़ी केंद्र (स्मार्ट क्लास) पर 102 सेंटीमीटर साइज का एक टेलीविजन और 500 वाट का सोलर सिस्टम उपलब्ध कराए जा रहे हैं। शैक्षिक विषय को रोचक और बोधगम्य बनाने के लिए विकास सहयोगियों के माध्यम से टीचिंग लर्निंग मटेरियल (टीएलएम) तैयार कराया गया है जिसमें कहानियां, भाव-गीत, फिजिकल एक्टिविटी को कार्टून के माध्यम से प्रदर्शित किया जा रहा है। इसके लिए आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षण सर्व शिक्षा अभियान के अंतर्गत बेसिक शिक्षा विभाग तथा आईसीडीएस के विकास सहयोगी संस्था वेदांता फाउंडेशन की ओर से दिया गया है। जिलाधिकारी के अथक प्रयास से यह व्यवस्था वेदांता फाउंडेशन द्वारा सीएसआर फंड के अंतर्गत की जा रही है। डीपीओ ने कहा कि स्मार्ट क्लास की स्थापना से आंगनबाड़ी केंद्रों पर बच्चों की संख्या में आशातीत वृद्धि हुई है और बच्चों का ठहराव भी बढ़ा है। वह पूरी रुचि के साथ चार घंटे आंगनबाड़ी केंद्र पर बैठ कर कुछ न कुछ सीखते रहते हैं।

   आदर्श ब्लॉक सेवापुरी के सिरिहरा आंगनबाड़ी केंद्र पर बच्चों को प्री स्कूल शिक्षा देतीं सुपरवाइज़र लालिमा पांडे व आंगनबाड़ी कार्यकर्ता आरती सिंह ने बताया कि टेलीविज़न व अन्य शिक्षा साधनों के जरिये बच्चे जल्दी सीखते हैं। चित्रों और संगीत का बच्चों के दिमाग पर बेहतर प्रभाव पड़ता है। जिससे उन्हें ज्यादा समय तक याद रखने में मदद मिलती है।


प्राइमरी विद्यालयों की तर्ज पर अब आंगनबाड़ी केंद्रों पर भी तीन से छह वर्ष तक के बच्चों को स्मार्ट तरीके से प्री स्कूल शिक्षा प्रदान की जाएगी । इसके लिए जनपद के 500 आंगनबाड़ी केन्द्रों पर स्मार्ट क्लास की स्थापना की जा रही है।  

    जिला कार्यक्रम अधिकारी (डीपीओ) डीके सिंह ने बताया कि नई शिक्षा नीति के तहत बाल विकास सेवा एवं पुष्टाहार विभाग के अंतर्गत संचालित आंगनबाड़ी केंद्रों को प्री प्राइमरी सेंटर के रूप में विकसित करने के लिए शासन की ओर दिशा-निर्देश प्राप्त हुये हैं। इस क्रम में जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा के निर्देशन में आंगनबाड़ी केंद्रों का नवीनीकरण शुरू कर दिया गया है। इस योजना के अंतर्गत प्रथम चरण में जनपद के 500 आंगनबाड़ी केंद्रों पर स्मार्ट क्लास की व्यवस्था शुरू की जा रही है। वर्तमान में जनपद के 302 आंगनबाड़ी केंद्रों पर सभी आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध करा स्मार्ट क्लास शुरू की जा चुकी हैं। बाकी 198 केंद्रों पर कार्य प्रगति पर है। पहले चरण में जिन केंद्रों पर यह व्यवस्था उपलब्ध कराई गई है उसमें आदर्श ब्लॉक सेवापुरी के 73, आराजीलाइन के 92, हरहुआ के 27, काशी विद्यापीठ के 47, पिंडरा के 22, बड़ागांव के 20, चोलापुर के 13 एवं चिरईगांव के 8 आंगनबाड़ी केंद्र सम्मिलित हैं। 

   डीपीओ ने बताया कि प्रत्येक आंगनबाड़ी केंद्र (स्मार्ट क्लास) पर 102 सेंटीमीटर साइज का एक टेलीविजन और 500 वाट का सोलर सिस्टम उपलब्ध कराए जा रहे हैं। शैक्षिक विषय को रोचक और बोधगम्य बनाने के लिए विकास सहयोगियों के माध्यम से टीचिंग लर्निंग मटेरियल (टीएलएम) तैयार कराया गया है जिसमें कहानियां, भाव-गीत, फिजिकल एक्टिविटी को कार्टून के माध्यम से प्रदर्शित किया जा रहा है। इसके लिए आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षण सर्व शिक्षा अभियान के अंतर्गत बेसिक शिक्षा विभाग तथा आईसीडीएस के विकास सहयोगी संस्था वेदांता फाउंडेशन की ओर से दिया गया है। जिलाधिकारी के अथक प्रयास से यह व्यवस्था वेदांता फाउंडेशन द्वारा सीएसआर फंड के अंतर्गत की जा रही है। डीपीओ ने कहा कि स्मार्ट क्लास की स्थापना से आंगनबाड़ी केंद्रों पर बच्चों की संख्या में आशातीत वृद्धि हुई है और बच्चों का ठहराव भी बढ़ा है। वह पूरी रुचि के साथ चार घंटे आंगनबाड़ी केंद्र पर बैठ कर कुछ न कुछ सीखते रहते हैं।

  आदर्श ब्लॉक सेवापुरी के सिरिहरा आंगनबाड़ी केंद्र पर बच्चों को प्री स्कूल शिक्षा देतीं सुपरवाइज़र लालिमा पांडे व आंगनबाड़ी कार्यकर्ता आरती सिंह ने बताया कि टेलीविज़न व अन्य शिक्षा साधनों के जरिये बच्चे जल्दी सीखते हैं। चित्रों और संगीत का बच्चों के दिमाग पर बेहतर प्रभाव पड़ता है। जिससे उन्हें ज्यादा समय तक याद रखने में मदद मिलती है।

स्वीडन के प्रोफेसर को पसंद आया इमाम हुसैन के ग़म का नौहा

शिवाला में मोहर्रम भर गूंजने वाले दर्द भरे नौहों पर लिख डाली किताब


वाराणसी (दिल इंडिया लाइव)। स्वीडेन के प्रोफ़ेसर मार्क जे. कार्त्ज़ ने मुगलो और नवाबों के मुहल्ले बनारस के "शिवाला" में करबला के शहीदो के ग़म में पढ़े जाने वाले दर्द भरे नौहो में से 50 चुनिंदा नौहे को अपनी किताब में शामिल किया है। इस किताब को लिखने में प्रोफेसर का साथ दिया है प्रमुख शिया विद्वान सैय्यद आलिम हुसैन ने।
"फिफ्टी सांग फार पीस, फिफ्टी सांग फार सोरो ," शीर्षक से लिखी गई यह किताब शिवाला की उस मिली जुली तहज़ीब की जियारत भी कराती है।जब मोहर्रम पर निकलने वाले क़दीमी जुलूस में अंजुमन नौहाखवानी करती हैं, तो इस अज़ादारी की जियारत करने व दुलदुल को दूध पिलाने दोनों मजहब के लोग जुटते हैं।
सैय्यद आलिम हुसैन खुश हैं कि उनके सहयोग से लिखी गई किताब से शिवाला को वो मुकाम मिलेगा जिसका वो हकदार है। वो कहते है कि मंज़र-ए-आम पर किताब आने से शिवाला में पढ़ा जाने वाला नौहा जग विख्यात हो जाएगा।
इस किताब कि खासियत है कि उर्दू में नौहा लिखा गया है और फिर उनका अंग्रेजी अनुवाद किया गया है। सैय्यद आलिम हुसैन कहते हैं कि अल्लाह प्रोफेसर मार्क की मेहनत का अजर दे की उनकी वजह से ये किताब तमाम देशों में जाएंगी और लोग शिवाला में पढ़े जाने वाले नौहो के बारे में जान पाएंगे।





ग्रामीण क्षेत्र की सीएचसी और पीएचसी पर भी अब रात्रिकालीन आकस्मिक सेवा

  • डिप्टी सीएम के निर्देश पर सीएमओ ने शुरू कराई व्यवस्था 

  • सीएचसी हाथी बाजार में भोर में भर्ती हुई डायरिया पीड़ित मरीजश

  • हर के चार सीएचसी पर पहले से जारी है रात्रिकालीन सेवाश

  • हर के 12 प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों पर भी सांध्य कालीन सेवाएं  उपलब्ध



वाराणसी 27 अप्रैल (दिल इंडिया लाइव)। प्रदेश के उप मुख्यमंत्री व स्वास्थ्य मंत्री ब्रजेश पाठक के निर्देश पर जनपद के ग्रामीण क्षेत्र  के सभी सामुदायिक व प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों पर अब रात्रिकालीन आकस्मिक सेवाएं शुरू कर दी गयी हैं। इसके मद्देनजर मंगलवार की देर रात सामुदायकि स्वास्थ्य केन्द्र हाथी बाजार, सेवापुरी में डायरिया पीड़ित ईट -भट्ठा पर काम करने वाली महिला मजदूर धानमती देवी (60 वर्ष) को भर्ती कर उपचार किया गया। अब उसके हालत में काफी सुधार है।

 *मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. संदीप चौधरी* ने बताया कि आम नागरिकों की चिकित्सा सेवाओं में कहीं कोई कमी  न रह जाए इसके लिए स्वास्थ्य विभाग पूरी तरह तत्पर है। प्रदेश के उप मुख्यमंत्री ने गत दिनों वाराणसी दौरे के दौरान ग्रामीण इलाके  के सभी सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों व ब्लॉक स्तरीय प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों में रात्रिकालीन आकस्मिक सेवा शुरू करने का  निर्देश दिया था ताकि आमजन रात्रि में किसी आपात स्थिति में निःशुल्क चिकित्सकीय सेवा प्राप्त कर सके। 

सीएमओ ने बताया कि स्वास्थ्य मंत्री के इस निर्देश के अनुपालन में ग्रामीण इलाके के सभी सीएचसी व पीएचसी पर रात्रिकालीन आकस्मिक सेवाएं शुरू कर दी गयी हैं। इनमें सीएचसी नरपतपुर,  चोलापुर,  पुआरीकला,  विरांवकोट,  गंगापुर,  हाथी बाजार, आराजीलाइन, मिसिरपुर के अलावा ब्लाक सीएचसी चोलापुर, ब्लाक सीएचसी आराजीलाइन और ब्लाक पीएचसी चिरईगांव, चोलापुर, हरहुआ, बड़ागांव, पिण्डरा, सेवापुरी, काशीविद्यापीठ में भी 24 घंटे आपातकालीन चिकित्सकीय सेवा उपलब्ध रहेंगी।

 डा. संदीप चौधरी ने बताया कि शहर के चार सामुदायिक स्वास्थ्य  केन्द्र शिवपुर, चौकाघाट, भेलूपुर, दुर्गाकुण्ड में पहले से ही 24 घंटे आपातकालीन सेवा उपलब्ध है । इसके अतिरिक्त 12 शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों पर सांध्य कालीन सेवाएं भी दी जा रही हैं । इनमें शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र आनंदमयी, पाण्डेयपुर, कोनिया, मदनपुरा, सेवासदन, जैतपुरा, बेनिया, अर्दलीबाजार, भेलूपुर, लल्लापुरा, राजघाट व टाउनहाल शामिल हैं, जो अपनी प्रातःकालीन सेवाओं के साथ ही सायं कालीन सेवाएं भी दे रहे है। यह  सभी शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र प्रातः नौ बजे से रात्रि आठ बजे तक खोले जाने के निर्देश दिए गये हैं ।

कुरान की आयते फिजा में होती रही बुलंद

शबे कद्र पर मोमिनीन ने अदा कि नफ्ल नमाजे

 वाराणसी (दिल इंडिया लाइव)। रमजान का चौबीसवां रोजा पूरा करके इबादतगुजारों ने 25 वीं रमजान की तीसरी शबे कद्र पर जागकर इबादत किया और सहरी खाकर पचीसवां रोजा रखा। वहीं घरों और मस्जिदों में हाथों में तस्बीह और लब पर रब का नाम लेते इबादतगुजार दिखाई दिये। इस दौरान तमाम इबादतगुजारो ने खूब नफ्ल नमाजे अदा की, कई जगहो पर रोजा इफ्तार दावत का भी आयोजन किया गया, उस्ताद हाफिज नसीम अहमद बशीरी की सरपरस्ती में शबीने का भी शहर में कई जगहों पर एहतमाम किया गया। इसमें कई मस्जिदो, मदरसो दरगाहो में खास इंतेजाम किया गया था। जहां शबीना सुनने लोगों का हुजुम जुटा हुआ था। देर रात तक इबादतों का दौर जारी रहा जो सहरी में पूरा हुआ। इस दौरान घरों से पाक कुरान की आयते फिजा में बुलंद हो रही थी। लोगो ने सहरी करके रोजा रखा। रोज़ेदार आज शाम अज़ान की सदाएं सुनकर रोज़ा इफ्तार करेंगे।

मंगलवार, 26 अप्रैल 2022

मधुमेह पीड़ित भी रखे रोज़ा, लज़ीज पकवानों का ले लुत्फ

मधुमेह से हैं पीड़ित तो मीठे को करे बाय

वाराणसी (दिल इंडिया लाइव)। मुस्लिमों के सबसे बड़े त्योहार ईद की बुनियाद रमज़ान है। पहले रमजान आता है जिसमें पूरे महीने मोमिनीन रोज़ा रखते हैं। इन दिनों रमज़ान चल रहा है। रमज़ान मुकम्मल होने पर ईद आयेगी। जब तक ईद नहीं आती तब तक पूरा महीना रमज़ान जोश-ओ-खरोश के मनाया जाता है। लोग अपने घरों में तरह तरह के पकवान बनाते हैं और एक दूसरे के साथ मिल बांटकर दिन भर रोज़ा रखने के बाद शाम में लज़ीज पकवानों का लुत्फ उठाते हैं। काफी लोग यह सोचते है कि रमज़ान के पकवान का लुत्फ मधुमेह से पीड़ित नही ले सकते है इसलिए काफी मधुमेह पीड़ित रोज़ा रखने से भी बचते है, जबकि चिकित्सको का कहना है कि मधुमेह से पीड़ित हैं तो भी आप रोज़ा रख सकते है और लज़ीज पकवानों का लुत्फ उठा सकते है, बस आपको बचना है, मीठे से। रमज़ान के साथ आपकी ईद भी हंसी-खुशी बीत जाये इसके लिए हमें रमज़ान में खास ख्याल रखना पड़ेगा। खास कर ऐसे मौकों पर जब घर में लज़ीज मीठे पकवान बनते हैं तो डायबिटीज के मरीजों के लिए बड़ी दिक्कत हो जाती है। क्यों कि इन लज़ीज इफ्तारी का ज़ायका लेने से इफ्तार में वो अपने को रोक नहीं पाते, या तो कोई उन्हें खिला देता है या फिर वो खुद मीठे पकवान खा लेते है। बेहतर हो कि आप अपनी केस हिस्ट्री लेकर नज़दीकी चिकित्सक से सम्पर्क करे और उनसे उचित सलाह ले कर रोज़ा रखे, मीठे से बचते हुए लज़ीज इफ्तारी का ज़ायका ले और ईद भी मनाये है।

खुद ही अपने स्वास्थ्य का रखना पड़ेगा ध्यान 

चिकित्सक डा. एहतेशामुल हक की माने तो रमज़ान में मधुमेह के मरीज़ों को खुद ही अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखना पड़ेगा। क्योंकि अगर कोई मुश्किल आ गई तो रमज़ान का रोज़ा तो जायेगा ही साथ ही उसके ईद का भी मज़ा फीक़ा हो सकता है। इसलिए डायबिटीज़ के मरीज़ों को थोड़ा ख्याल रखने और एहतेयाद की ज़रूरत है। चिकित्सक डा. गुफरान जावेद की माने तो रोजे के दौरान शाम में इफ्तार के वक्त हर हाल में मीठे शर्बत व मीठें पकवान से परहेज़ करें तो मुश्किल टल सकती है, और ईद की खुशियां दुगनी हो सकती है।

क्या है हाइपरगिलेसेमिया ?

रोजे के दौरान मधुमेह के मरीज़ों को ग्लूकोज में अचानक गिरावट होने से हाइपोगिलेसेमिया हो सकती है इसमें मरीज को चक्कर और बेहोशी आने लगती है। हाथ-पांव ठंडे पड़ जाते हैं। रोजे के दौरान मरीज के खून में शुगर की मात्रा अधिक हो सकती है जिसे हाइपरगिलेसेमिया कहा जाता है। जिसमें मरीजों की आंखों के सामने धुंधलापन, बेहोशी, कमजोरी और थकान जैसी समस्याएं हो सकती है। ऐसी स्थिति में रोज़ा रखने से पूर्व अपने चिकित्सकों से परामर्श ज़रूर ले कि उन्हें सहरी में क्या खाना है और इफ्तार व खाने में उन्हें रात को क्या लेना है।

इन बातों को न करें नजरअंदाज

-जिन फलों में मीठा अधिक हो उनका सेवन ना करें।

-जितनी भूख हो उतना ही खाएं, रोजा समझकर ज्यादा ना खाएं।

-मीठे चीजों को एकदम दूरी बनाएं रखें।

-अपने आहार में रस भरे फल, सब्जियां, जूस और दही में चीनी का सेवन ना करें।

-भोजन और सोने के बीच दो घंटे का अंतराल रखें।

-सोने से पहले किसी भी कार्बोहाइड्रेट युक्त आहार का सेवन ना करें।

-अधिक तले भोजन से परहेज करें, रोटी और चावल में स्टार्च होता है इसलिए इनका भोजन भी कम ही करें।

शेख़ अली हजी को दिखता था बनारस का हर बच्चा राम और लक्ष्मण

बरसी पर याद किए गए ईरानी विद्वान शेख़ अली हजी  Varanasi (dil India live)। ईरानी विद्वान व दरगाहे फातमान के संस्थापक शेख मोहम्मद अली हजी ईरान...