मरकजी यौमुन्नबी कमेटी के डायस पर अंजुमन फारूकिया अव्वल
बरकाते रसूल, गुलामे गौस-ए-पाक, रजाए मुस्तफा, मोजाहिद्दिन-ए-रसूल, सुन्नते रसूल को भी मिला इनाम
60 से ज्यादा अंजुमनों ने किया नातिया मुकाबले में शिरकत
F.farooqui Babu/shamsher alam
Varanasi (dil India live)। मरकजी यौमुन्नबी की ओर से Eid Miladunnabi पर रात भर चले नातिया मुकाबले का समापन सुबह हुआ जिसमें तकरीबन 60 से ज्यादा अंजुमनों ने हिस्सा लिया। इसमें अंजुमन फारूकिया भीखाशाह गली अव्वल रही। ऐसे ही अंजुमन बरकाते रसूल, अंजुमन गुलामे गौस-ए-पाक, अंजुमन रजाए मुस्तफा, अंजुमन मोजाहिद्दिन-ए-रसूल, अंजुमन सुन्नते रसूल भी बेहतरीन नातिया शायरी के लिए इनाम हासिल करने में कामयाब रही। ऐसे ही मिल्लत कमेटी की ओर से हुए नातिया मुकाबला में अंजुमन गौसिया नवाबगंज, अंजुमन गौस-ए-पाक नई सड़क, अंजुमन सलाहुद्दिन शेख सलीम फाटक, अंजुमन गुलमाने वारिस खजूर वाली मस्जिद, अंजुमन गरीब नवाज बगीचा हंकार टोला, अंजुमन पैगाम-ए-हुसैन खैराशबाद, अंजुमन सिराजुल इस्लाम छित्तनुपरा को इनामात से नवाजा गया।
जुलूस शांतिपूर्ण सम्पन्न, अदा किया शुक्रिया
जश्ने ईद मिलादुन्नबी पर जुलूसे मोहम्मदी का तमाम शानदार जुलूस पूरे वाराणसी में बड़ी शिद्दत के साथ निकाला गया था। जिसमें जलालीपुरा वार्ड के सभी मोहल्लों जलालीपुरा, अमरपुर बटलोहिया, मढिया और सरैया से भी दर्जनों जुलूस निकाले गए जिसमे हजारों की तादाद में अकीदतमंद शामिल हुए थे। सभी जुलूस के शांतिपूर्ण सम्पन्न होने पर पार्षद पति हाजी ओकास अंसारी ने सभी अंजुमनों, सामाजिक कार्यकर्ताओं व पुलिस प्रशासन का शुक्रिया अदा किया। उन्होंने कहा कि वह खुद जुलूस में शामिल हुए और जुलूस पास कराया।
Varanasi (dil India live). लच्छीपुरा कॉलोनी में जश्ने ईद मिलादुन्नबी धूमधाम से मनाई गई। जश्न-ए-ईद मिलादुन्नबी की महफिल में नबी की शान में मोहम्मद रशीद ने नात पढ़कर महफिल का आगाज़ किया। इस दौरान मौलाना हकीमुद्दीन ने नबी की सुन्नत और मिलाद के बारे में तकरीर करते हुए तमाम लोगों को नबी के बताए और दिखाएं रास्ते पर चलने की वकालत की। महफिल में लच्छीपुरा के सभी लोगों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया और नबी की मोहब्बत का इज़हार किया।
महफिल में मौजूद लोगों ने नबी की शान में कसीदे पढ़े और उनकी तारीफ में सदाएं बुलन्द की। मौलाना हकीम की तकरीर से लोगों को नबी की सुन्नत और मिलाद के महत्व के बारे में पता चला। इस दौरान जश्न-ए-ईद मिलादुन्नबी की इस महफिल में लच्छीपुरा कॉलोनी के लोगों ने एकजुट होकर नबी की मोहब्बत और इज़हार किया।
नबी की शान में सजी महफिलें
१२ रबी उल अव्वल बरोजे जुमा सरकार ए दो आलम हजरत मोहम्मद के जन्मदिन के सिलसिले से यौम उन नबी के साथ जश्न ए इमाम ए सादिक मनाया गया। इस दौरान कलाम गूंजा, मोहम्मद न होते तो कुछ भी न होता...शिया जामा मस्जिद के प्रवक्ता हाजी सय्यद फरमान हैदर ने बताया कि शिया जामा मस्जिदों में नमाज के बाद उलमा ने नूरानी तकरीर से हजरत मोहम्मद (स.) और इमाम जाफर सादिक के जीवन में प्रकाश डाला। सभी ने एक ज़बान से नबी और इमाम के बताए हुए रस्ते पर चलने का पैगाम दिया। जामा मस्जिद दारा नगर में मौलाना अमीन हैदर हुसैनी, जामा मस्जिद मीर गुलाम अब्बा अर्दली बाजार में मौलाना तौसीफ अली, जामा मस्जिद बजरडीहा में मौलाना इश्तियाक हुसैन , हैदरी जामा मस्जिद रामनगर में मौलाना बदरुल हसन , दुल्हीपुर me तकरीर ka सिलसिला जारी रहा। बड़ी तादाद में नारे तकबीर , नारे रिसालत , दुरूद o सलाम, ke साथ लोगों ने देश में सेहत और सलामती के लिए दुआ ख्वानी भी की। श्री हैदर ने बताया कि महफिलों का ये सिलसिला १३ सितंबर तक जारी रहेगा। ये साल नबी की विलादत का १५०० वा साल है।
वीकेएम में शिक्षक दिवस पर पूर्व शिक्षकों का सम्मान
Varanasi (dil India live). शिक्षक दिवस धूमधाम से शहर भर में मनाया गया। इस मौके पर वर्तमान और पूर्व टीचर्स का सम्मान किया गया।
वसन्त कन्या पी जी कालेज, कमच्छा में छात्र सलाहकार एवं अनुशासन समिति द्वारा शिक्षक दिवस के अवसर पर महाविद्यालय के सभागार में एक गरिमामय कार्यक्रम का किया गया। इस 'कृतकार्य सम्मान समारोह’ में पूर्व प्राचार्या प्रो.कुसुम मिश्रा सहित सेवानिवृत्त शिक्षकों डॉ.कमला पाण्डेय, डॉ.सुधा श्रीवास्तव, डॉ.कुमुद रंजन, डॉ.तृप्ति जायसवाल, डॉ.माधुरी अग्रवाल, डॉ.बीना सिंह, प्रो.स्वरवन्दना शर्मा, अंजना चटर्जी, डॉ.स्मृति भटनागर तथा नामचीन तबला कलाकार काशीनाथ मिश्र एवं कार्यालयकर्मी सुभाष भारती को प्राचार्या प्रो.रचना श्रीवास्तव द्वारा शॉल और रञ्जन विभाग की छात्राओं द्वारा हस्तनिर्मित सुन्दर मिनिएचर पेंटिंग प्रदान कर सम्मानित किया गया।
इस मौके पर प्राचार्या प्रो.रचना श्रीवास्तव ने कहा कि शिक्षा ही समाज को दिशा देती है और शिक्षक उसके आधार स्तम्भ हैं। उन्होंने कर्तव्यनिष्ठ शिक्षकों के योगदानों को याद करते हुए कहा कि इस महाविद्यालय में छात्राओं की अकादमिक और सांस्कृतिक प्रतिभाओं को निखारनेवाली शिक्षिकाओं की सुदीर्घ परम्परा रही है जो वर्तमान में शिक्षणरत शिक्षकों द्वारा कुशलता से आगे ले जाई जा रही है। कार्यक्रम का आकर्षण छात्राओं द्वारा प्रस्तुत रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम रहा। इसमें छात्राओं द्वारा गुरु प्रशस्तिपरक भजनों, भरतनाट्यम् और लोकनृत्य की श्रुतिमधुर और मनोहारी प्रस्तुतियों तथा संस्कृत सुभाषितों के सस्वर पाठ के मणिकाञ्चन योग ने समवेत रूप से समारोह की भव्यता में चार चाँद लगाने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी।प्रस्तुतियों ने उपस्थित जनों को भावविभोर कर दिया और हॉल तालियों की गड़गड़ाहट से गूंज उठा। कार्यक्रम का संचालन मुस्कान एवं सौम्या त्रिपाठी तथा धन्यवाद ज्ञापन अनन्या सृष्टि ने किया। महाविद्यालय की सभी प्राध्यापिकाएं उपस्थित रहीं।
प्राथमिक विद्यालय ग़ौराकला में शिक्षक दिवस
चिरईगांव ब्लॉक के प्राथमिक विद्यालय ग़ौराकला में शिक्षक दिवस धूमधाम से मनाया गया। मौके पर छात्र छात्राओं ने कक्षा को बहुत ही आकर्षक तरीके से सजाया। सर्वप्रथम छात्रों ने स्वागत गीत गाकर शिक्षकों का स्वागत किया। प्रिंसिपल आरती देवी ने डॉ सर्वपल्ली राधाकृष्णन के जन्म दिन के उपलक्ष्य पर केक काटकर कार्यक्रम की शुरूआत की। शिक्षकों ने बच्चों का उत्साहवर्धन करते हुए हुए उन्हें गिफ्ट देकर सम्मानित किया। बच्चों ने भी अपने हाथ का बना हुआ अध्यापकों को बधाई कार्ड दिया। शिक्षक दिवस पर आरती देवी ने कहा कि गुरु शिष्य का रिश्ता प्राचीनकाल से चलते रहा है और आज भी यह कायम है। उन्होंने शिक्षक दिवस की महत्ता एवं गुरु शिष्य के रिश्तों का व्याख्यान किया। छात्रों के भविष्य को उज्जवल बनाने आगे चल के अपने लक्ष्य को प्राप्त करना ही मूल उद्देश्य है। मौजूद छात्र छात्राओं ने गुरु शिष्य के परंपरा को निभाने और एक अच्छे शिक्षक की तरह छात्रों ने प्रण किया कि वो अपने आस पास रहने वाले अशिक्षित, भटके हुए छात्रों को सही राह दिखाने एवं एक अच्छे इंसान बनने की प्रेरणा देंगे। अटेवा के जिला उपाध्यक्ष डॉ एहतेशामुल हक ने कहा कि वैसे तो शिक्षक दिवस सभी देशों में अलग अलग तिथि को मनाया जाता है, लेकिन भारत में पांच सितंबर को डा सर्वपल्ली राधाकृष्णन के जन्म के अवसर पर मनाया जाता है। जो एक शिक्षक होते हुए भारत के प्रथम उप राष्ट्रपति एवं द्वितीय राष्ट्रपति भी थे। भारत में बहुत सारे महान लोग है पर डा. सर्वपल्ली राधाकृष्णन के जन्म दिन पर ही क्यों मनाया जाता है, क्योंकि वे बच्चों से बहुत प्यार करते थे,और शिक्षा के लिए बहुत प्रयत्नशील थे।
इस अवसर पर प्रिंसिपल आरती देवी,अटेवा के ज़िला उपाध्यक्ष डॉ एहतेशामुल हक, रेखा उपाध्याय, सादिया तबस्सुम, अनीता सिंह, शशिकला, प्रमिला सिंह, ज्योति कुमारी, शक्ति कुमारी, रीना, रीता, सोनी, आशा, त्रिलोकी प्रसाद गुप्ता, छात्र एवं छात्राएं उपस्थित थे।
सिटी प्राइड मोंटेसरी स्कूल में सम्मान समारोह
वाराणसी के सिगरा स्थित सिटी प्राइड मोंटेसरी स्कूल में शिक्षक दिवस पर एक भव्य सम्मान समारोह का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का आयोजन इनरव्हील क्लब ऑफ वाराणसी श्रृष्टि द्वारा किया गया था। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि इनरव्हील क्लब की जिला समन्वयक यमुना थीं तो विशिष्ट अतिथियों में स्कूल के निदेशक रज़ीउद्दीन सिद्दीकी, सह निदेशक नाज़िया, उप निदेशक ज़ियाउद्दीन सिद्दीकी और प्रधानाचार्या फ़िरदौस शामिल थीं।
कार्यक्रम में स्कूल के उत्कृष्ट शिक्षकों को सम्मानित किया गया। इस अवसर पर सम्मानित सदस्यों में सरोजिनी महापात्रा, राशि, सुधा क्लब की आईएसओ स्नेहा गुप्ता और सचिव यामिनी अग्रवाल मुख्य थी। कार्यक्रम में सभी शिक्षकों को जलपान और उपहार प्रदान किए गए। इस अवसर पर स्कूल के बच्चों ने रंगारंग प्रस्तुतियां दीं और शिक्षकों को सम्मानित किया।
इनरव्हील क्लब ऑफ वाराणसी श्रृष्टि की इस पहल की सराहना करते हुए निदेशक रज़ीउद्दीन सिद्दीकी ने कहा कि शिक्षकों का सम्मान करना हमारा कर्तव्य है। इस अवसर पर यमुना ने कहा कि शिक्षक समाज के निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। इस प्रकार, सिटी प्राइड मोंटेसरी स्कूल में शिक्षक दिवस का आयोजन धूमधाम से किया गया और सभी शिक्षकों को सम्मानित किया गया।
आरडीएम-कान्वेंट स्कूल में शिक्षक दिवस
आरडीएम कान्वेंट स्कूल ककरमत्ता स्थित न्यू कालोनी प्रांगण में शिक्षक दिन रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रमों संग धूमधाम से मनाया गया। प्रोग्राम की शुरुआत स्कूल के सिनियर क्लास के बच्चों ने जूनियर क्लास के बच्चों की क्लास लेकर किया। इस दौरान उन्होंने पढ़ाई के गूर बताये। स्कूल के प्रबंधक कमलेश कुमार ने अपने संबोधन में कहा कि आज शिक्षक दिवस मनाने के पीछे एक कहानी है जो डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन जी से जुड़ी हुई है। 5 सितम्बर को उनका जन्म दिवस पर मनाया जाता है। शिक्षा और राजनीति के क्षेत्र में इनका बहुत बड़ा योगदान रहा है। स्कूल के प्रधानाचार्य विनोद कुमार ने भी डॉ. राधा कृष्णन के जीवन वृत्त पर प्रकाश डाला। इस अवसर पर स्कूल के वाइस प्रिसिपल तलसीलदार राम, दीपू, अविनाश, स्नेहा, शालिनी सुजाता, विभा, दीपशिखा, पूजा, नाजिया, अल्का, आसना, प्रतिभा, सुषमा आदि अध्यापक व अध्यापिकाएं उपस्थित थीं। सभी ने एक दूसरे को शिक्षक दिवस की बधाई दी।
जुलूस-ए-मोहम्मदी में इस्लामी परचम के साथ ही लहराया तिरंगा झंडा
नबी की सुन्नत और ईमान की मजबूती पर उलेमा ने दिया जोर
शहर काजी का जुलूस पहुंचा रेवड़ी तालाब, तो दावते इस्लामी का बेनियाबाग मैदान
Sarfaraz/Rizwan
Varanasi (dil India live)। पैग़म्बरे इस्लाम हज़रत मुहम्मद (स.) की यौमे पैदाइश (जन्मदिन) पर हर्षोल्लास के साथ जहां शहर भर में जुलूस निकाला गया वहीं देर रात से सुबह तक अंजुमनों का नातिया मुकाबला चला। इस दौरान अमन, एकता और सौहार्द की परम्परा ईद मिलादुन्नबी में इस बार भी देखने को मिली। आयोजनों में इस्लामी रंग-बिरंगे परचम के साथ देश की शान तिरंगा झंडा भी लहराता दिखाई दिया। शाम में वरुणा पार और आसपास के मुहल्लों, अलवीपुरा, पठानी टोला आदि में भी जुलूस-ए मोहम्मदी निकाला गया। ऐसे ही अंजुमन फैज़ाने नूरी, अर्दली बाज़ार के जानिब से "जुलूसे मोहम्मदी" बाद नमाज़ अस्र अपनी पुरानी रवायत के मुताबिक उठ कर अपने पुराने कदीमी रास्ते से होते हुए अन्जुमन के डायस पर आकर सलातो सलाम के बाद खत्म हुआ।
इससे पहले शहर काजी मौलाना जमील अहमद रजवी की क़यादत में रेवड़ी तालाब अजहरी मैदान से सुबह जुलूस निकाला गया जो भेलुपूर, गौरीगंज, रविन्द्रपुरी, शिवाला. सोनारपुरा, होते हुए गोदौलिया, बांसफाटक समेत विभिन्न परम्परागत रास्तों से होता हुआ रेवड़ी तालाब मैदान में आकर संपन्न हुआ। इस दौरान अमन, एकता मुल्क से मोहब्बत की शहर काजी ने दुआएं मांगी और लोगों को नेकी के रास्ते पर चलने की हिदायत दी। मुफ्ती अहसन कमाल, मौलाना याकुब साहब, मौलाना शफीक अजमल, मौलाना शफीक अहमद समेत काफी हूजुम जुलूस में मौजूद था।
नबी का पैग़ाम देती तख्तियों ने खींचा ध्यान
जूलूस में गौरीगंज के इम्तियाज खां के संयोजन में नबी का नूरानी पैग़ाम देती तख्तियां लेकर सैकड़ों लोग चल रहे थे। इन पर प्यारे नबी की प्यारी प्यारी बातें जो हदीस से साबित है लिखी गई थी। इन तख्तियों ने सभी का ध्यान अपनी ओर खींचा।
दावते इस्लामी जुलूस-ए मोहम्मदी कमेटी
मरकजी दावते इस्लामी जुलूस-ए मोहम्मदी कमेटी द्वारा निकाले गए जुलूस ने मुल्क से मोहब्बत, नबी की सुन्नत और ईमान की मजबूती का पैग़ाम दिया। जुलूस में किछौछा शरीफ के सज्जादानशीन की मौजूदगी लोगों की सरपरस्ती कर रही थी। जुलूस के बाद बेनियाबाग में जुटे देश के आलिम व उलेमा ने नबी की सुन्नत, नेकी का रास्ता और अपने देश से किए जाने वाली मोहब्बत पर रौशनी डाली।
मौलाना हसीन अहमद हबीबी सदर काजी बनारस की अगुवाई में निकले जुलूस में आल इंडिया काजी बोर्ड के सैय्यद कौसर रब्बानी साहब ने सदारत की। इससे पहले प्रातः 6:30 बजे जुलूस-ए-मुहम्मदी (स०) मरकज़ी दावते-इस्लामी जुलूस ए मोहम्मदी कमेटी के तत्वाधान में रेवड़ी तालाब अजहरी मैदान से चलकर भेलुपूर, गौरीगंज, रविन्द्रपुरी, शिवाला. सोनारपुरा, होते हुए गोदौलिया, बांसफाटक पहुंचा जहाँ सर्व समाज के धर्म गुरुओं ने जुलूस में उपस्थित लोगों को बैज लगाया व फूल मालाओं के साथ माल्यार्पण कर स्वागत किया। गोदौलिया पर अनेक हिन्दू संस्थाओं ने जुलूस-ए-मोहम्मदी का बैनर लगाकर स्वागत किया। बुलानाला. मैदागिन, लोहटिया में इसरा के बैनर तले जुलूस के विशिष्ट अतिथियों का माल्यार्पण किया गया। इसके बाद हरी झंडी दिखाकर हाजी अबु ज़फर ने जुलूस को आगे रवाना किया। डॉ. ओमशंकर, डॉ. ए. के. कौशिक डॉ. अफ़ज़ल, डॉ. हैदर अली, भाई के. के. सिंह, इसरा के जनरल सेक्रेटरी डॉ मोहम्मद फारुख ने बुके पेश किया और माल्यार्पण कर हार्दिक बधाई दी। कई स्थानों पर चाय कॉफी का स्टाल लगाया गया था। इस जुलूस की अध्यक्षता मुफ्ती बोर्ड के अध्यक्ष मौलाना मुफ्ती अब्दुल हादी खां रिजवी ने किया। जुलूस का नेतृत्व मुफ़्ती बोर्ड के सेक्रेटरी व जामा मस्जिद के शाही इमाम और नवनिर्वाचित सदर काज़ी-ए-शहर बनारस मौलाना हसीन अहमद हबीबी कर रहे थे। जुलूस में सरकार की आमद मरहबा , मुख्तार की आमद मरहबा...के नारे लग रहे थे। जुलूस में कई मुस्लिम संगठन ने भी अपने स्टॉल गौरीगंज, मदनपुरा, चौक, बुलानाला, लोहटिया, आदि पर लगाया था। जलूस अपने परम्परागत रास्ते से होता हुआ गोदौलिया, नीचीबाग, मैदागिन, कबीरचौरा पियरी, होते बेनियाबाग पहुंचा। बनारस के कई मुहल्लों के छोटे छोटे जुलूस जैसे अर्दली बाजार, अहाता उल्फत बीबी, गोलघर, नदेसर, तेलियाबाग, लहुराबीर पियरी, पर जाकर मुख्य जुलूस मे शामिल हो गया और एक छोटा जुलूस शक्कर तालाब, जलालीपुरा, गोलगड्डा, पीलीकोठी, विशेश्वरगंज होते हुए मुख्य जुलूस में मैदागिन पर जाकर मिल गया। इसके अतिरिक्त बजरडीहा लल्लापुरा आदि स्थानों से भी छोटे छोटे जुलूस बड़े जुलूस में शामिल हो गये। जुलूस को देखने के लिए सड़कों के दोनों तरफ मकानों पर महिलाओं व बच्चों की भीड़ थी।
बेनियाबाग मैदान में जलसा
जुलूस बेनियाबाग में पहुंचकर जलसे के रूप में परिवर्तित हो गया। जलसे का आगाज़ कारी कौसेन मोअज्जम ने कुरान की तिलावत से किया तो मौलाना अंजुम रजा नूरी इलाहाबाद व मौलाना उजैर आलम साहब हकाकटोला, अल्लामा अब्दुल मोईद रज़ा कादरी, मौलाना हमज़ा शैदा इस्माईली ने हुजूर की पैदाइश,उनकी सीरत और अमन की तालीम पर रौशनी डाली। अवाम शायरों में मोहम्मद कौसर बरकाती, आरिफ शमीम, वसीम अत्तारी. आबिद जमाल, दानिश अत्तारी. शाहजेब अख्तर इत्यादी लोग शामिल थे। इसके अतिरिक्त गणमान्य नागरिकों में केके सिंह, हाजी अब्दुल अमीन, हाजी अमीर अहमद, हाजी अनीस (मुंशी), हाजी हाफिज जावेद अख्तर, हाजी हाफिज नूर, हाफ़िज़ शोएब अहमद, हाफ़िज़ मूसा, डाक्टर हम्ज़ा आदि लोग शामिल थे। मौलाना हसीना अहमद हबीबी सदर काज़ी-ए-शहर बानरस ने हिंदुस्तान की खुशहाली के लिए दुआ की व सभा का समापन हजरत अल्लामा मौलाना सय्यद कौसर रब्बानी साहब की दुआ (प्रार्थना) और सलातो सलाम पर संपन्न हुआ।
हर तरफ नूर की बारिश, नबी की शान में गूंजते रहे नातिया कलाम
सरफराज/रिज़वान
Varanasi (dil india live)। आमदे मुस्तफा की खुशी में जुमेरात की शाम और फिर रात मुस्लिम इलाके रौशनी और सजावट से इतराते नज़र आये। आमीना के लाल की पैदाइश का जश्न मनाने देश दुनिया में जज़्बा और जुनून देखते ही ब रहा था। इस दौरान सारा जहां नबी की मोहब्बत और अकीदत लुटाता नज़र आया। हर तरफ नूर की बारिश और डायसो से नबी की शान में गूंजते कलाम और शायरों का जज्बा और जुनून बेहद खास और तस्वीरें खूबसूरत थी। इस दौरान बिहार सरकार के कैबिनेट मंत्री मोहम्मद जमा खां भी बेहद खुशनुमा माहौल में नबी का जश्न मनाने देर रात पहुंचे। उनका यौमुन्नबी कमेटी के मेम्बर्स ने जोरदार स्वागत किया।
वाराणसी में अर्दली बाज़ार मुख्य रोड पर अंजुमन फैजाने नूरी के डायस पर मौलाना शमशुद्दीन साहब की अंगुवाई में यहां देर रात तक शायरों ने जहां कलाम पेश किया वही उलेमा की तकरीर से भी अकीदतमंद फैज़याब हुए। मध्यरात्रि तक शायरों के कलाम यहां गूंज रहे थे। ऐसे ही अंजुमन आशिकाने पंजतन द्वारा उल्फत कंपाउंड में सजावट व डायस लगा था जहां नातिया कलाम फिज़ा में गूंज रहे थें। उधर मरकजी यौमुन्नबी कमेटी की ओर से ईद मिलादुन्नबी पर, आज किसकी आमद से हर तरफ उजाला है, आखिरी पैयंबर है और नूर वाला है... व, आमीना का लाल देखो जगमग जगमग करता है...। जैसे कलाम फिज़ा में मिठास घोल रहे थे। इससे पहले जुमेरात को जुलूस निकाला गया। जुलूस बेनियाबाग के पूर्वी छोर हड़हा मैदान से निकला। इसके बाद सराय हाड़हा, छत्तातले, नारियल बाजार, दालमंडी, नई सड़क, मस्जिद खुदा बख्श, कुरैशबाग मस्जिद, उस्ताद बिसमिल्लाह खान मार्ग होकर भीखा शाह गेट पर पहुंचकर समाप्त हुआ।
जुलूस की अगुवाई कमेटी के अध्यक्ष शकील अहमद बबलू,(पूर्व चेयरमैन अल्पसंख्यक आयोग) कर रहे थे। जुलूस के बाद मौलाना ज़कीउल्लाह असदुल कादरी ने नबी की सीरत पर रौशनी डाली। कहा कि इस्लाम (Islam) धर्म के अंतिम पैगम्बर Hazrat मोहम्मद (स.) किसी एक के लिए नहीं बाल्कि सारी दुनिया के लिए रहमत बनकर आए थे। अगर नबी को मानते हो तो उनके बताये हुए रास्तो पर चलों। इस दौरान आगा कमाल अहमद, रेयाज़ अहमद नूर, मोहम्मद अबरार खान, शकील अहमद सिद्दीकी, इमरान अहमद, शकील, समर खां, दिलशाद अहमद, मुदस्सिर व राशिद सिद्दीकी आदि मौजूद थे।
जगमगा उठा मुसलिम इलाका
इस दौरान अर्दली बाजार, पक्की बाजार, मकबूल आलम रोड, नदेसर, लल्लापुरा, हबीबपुरा, नई सड़क, दालमंडी, सराय हड़हा, रेवड़ी तालाब, मदनपुरा, गौरीगंज, शिवाला, बजरडीहा, शक्कर तालाब, जलालीपुरा, कोयला बाजार, पीली कोठी, बड़ी बाजार आदि इलाकों में विद्युतीय सजावट देखने को मिली। शहर में कई जगहों पर अंजुमनों का नातिया मुशायरा और नातिया मुकाबला हुआ। इस दौरान उलेमा की तकरीर भी हुई।
जुलूस-ए मोहम्मदी में शिरकत करेंगी हस्तियां
जुलुसे मोहम्मदी रेवड़ी तालाब मैदान से सुबह निकलेगा। जुलूस में शिरकत करने बाहर से भी उलेमा समाचार लिखे जाने तक आ चुके थे। इसमें सबसे महत्वपूर्ण किछौछा शरीफ के सज्जादानशीन साहब सैय्यद मकदूम अशरफ़, आल इंडिया काजी बोर्ड के अध्यक्ष मौलाना कौसर रब्बानी साहब वगैरह का नाम शामिल हैं।
Varanasi (dil India live)। पैग़म्बरे इस्लाम हज़रत मुहम्मद (स.), आखिरी नबी थे। उनकी पैदाइश का जश्न मनाने को शहर तैयार हो गया है। जहां मस्जिद, मदरसा, घर, मुहल्ले रौशनी से जगमगा रहे हैं, वहीं कल जुमे की सुबह फजर की नमाज के बाद जुलूसे मोहम्मदी निकलेगा। जो रेवड़ी तालाब से होता हुआ विभिन्न रास्तों से होकर वापस बेनियाबाग में संपन्न होगा, हालांकि शहर काजी की सदारत में निकलने वाला जुलूस रेवड़ी तालाब से होता हुआ रेवड़ी तालाब में ही पहुंच कर दुआओं के साथ सम्पन्न होगा।
नबी की आमद की खुशी में डूबे लोग
नबी की पैदाइश की खुशी में इस बार भी खूबसूरत सजावट शहर भर में कराया गया है। जगह जगह जुलूस और तकरीर का आयोजन एक रबीउल अव्वल से ही शुरू हो गया है जो आज अपने शबाब पर होगा।
नबी की पैदाइश की पूर्व संध्या 4 सितंबर की रात गली मुहल्लों के साथ ही मरकज़ी यौमुन्नबी कमेटी द्वारा जुलूस निकाला जाएगा। जुलूस के बाद अंजुमनों का नातिया कलाम का मुकाबला होगा। अंजुमनों के मुकाबले से पूर्व मौलाना जकीउल्लाह असदुल कादरी की बेनियाबाग के समीप तकरीर होगी। शकील अहमद बबलू ने बताया कि मरकज़ के जिम्मेदार साथियों ने गंगा जमुनी तहजीब के शहर में तमाम लोगों से पुरखुलूस गुज़ारिश की है कि इस यादगार जुलूस में शामिल हो कर शुकिया का मौका दें। कमेटी के लोगों ने प्रसाशनिक अधिकारियों से ये गुजारिश की है कि आज के दिन ट्रैफिक, सफाई एवं लाइट का मुकम्मल इन्तेजाम रखा जाये। जिससे इस यादगार जश्न को शानदार एवं खूबसूरत बनाया जा सके। बनारस के हिन्दू, मुस्लिम, सिख, ईसाई व जिम्मेदार लोगों से तथा शहर के बुज़गों से गुज़ारिश की गई है कि इस जश्न में शामिल हो कर जुलूस को कामयाब बनायें। यौमुन्नबी कमेटी के सदर हाजी शकील अहमद बबलू अध्यक्ष, हाजी महमूद खान (महामंत्री) की अगुवाई में मो. अबरार खान, मो. इमरान खान, शकील अहमद सिद्दीकी, आगा कमाल, रेयाज़ अहमद नूर, मोदस्सिर अहमद, दिलशाद अहमद, सोहराब आलम, वारिस बब्लू, हाजी समर खान, हाजी राशीद, साजिद गुड्डू, राशिद सिद्दीकी, हाजी यासीन गुड्डू, हाजी एकबाल, तौकीर अहमद, फुर्कान खान, अज़हर आलम अज्जू, मारूफ अली आदि जुलूस में व्यवस्था संभाले रहेंगे।
अर्दली बाजार में सजावट
ऐसे ही अर्दली बाजार में भी खूबसूरत सजावट की गई है। कई सजावटी माडल सजाएं जा रहे हैं। आज रात व कल यहां दो दिन जलसा, नातिया मुशायरा होगा। ऐसे ही पक्की बाजार, पुलिस लाइन, कचहरी, लल्लापुरा, फातमान, पितर कुंडा, गौरीगंज, शिवाला, बजरडीहा, ककरमत्ता, पठानी टोला, कोयला बाजार, बड़ी बाजार, पीली कोठी, जलालीपुरा, सरैया, कोनिया, शक्कर तालाब व नक्कीघाट आदि इलाकों में खूबसूरत सजावट कराया गया है। हर तरफ नबी की आमद की अगुवाई करने लोग तैयार है।
मेरी काशी क्रिएटर पाठशाला में स्टूडेंट्स ने किया प्रतिभाग
Varanasi (dil India live)। डीएवी पीजी कॉलेज के ट्रैवेल एवं टूरिज़्म विभाग के छात्र छात्राओं ने बुधवार को पर्यटन मंत्रालय, भारत सरकार एवं पर्यटन विभाग, उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से आयोजित मेरी काशी क्रिएटर पाठशाला में प्रतिभाग किया। आयुक्त सभागार में आयोजित इस कार्यशाला में प्रतिभागियों को स्टोरी टेलिंग ट्रेनिंग तथा कंटेंट क्रिएशन ट्रेनिंग प्रदान की गई। विभिन्न सत्रों के माध्यम से छात्रों ने पर्यटन एवं सांस्कृतिक रचनात्मकता से जुड़े नवीन दृष्टिकोण, व्यावहारिक ज्ञान और अनुभव अर्जित किए। कार्यशाला में ट्रैवल एंड टूरिज़्म मैनेजमेंट पाठ्यक्रम के समन्वयक डा. शशिकांत यादव, प्राध्यापक ज्योति मिश्रा एवं जया सहित 30 विद्यार्थी शामिल हुए।