कबीरा खड़ा बाजार में' नाटक का हुआ मंचन
Varanasi (dil India live)। अध्ययन अभियान के तहत आज विश्व ज्योति केंद्र वरुणाएपुल, नेपाली कोठी में "कबीरा खड़ा बाजार में" नाटक का मंचन किया गया और "लोक जागरण और कबीर" विषय पर विख्यात लोकधर्मी आलोचक प्रो० चौथी राम यादव का वक्तव्य हुआ। इस दौरान चौथी राम यादव ने कहा कि कबीर जीवन भर सांप्रदायिकता, जातिगत भेदभाव और धर्मों के पाखंड के खिलाफ लड़ते रहे। आज जिस तरह से सांप्रदायिकता और जातिवाद फैलाने की कोशिश हो रही है कबीर फिर से प्रासंगिक हो उठे हैं।"कबीरा खड़ा बाजार में नाटक के जरिए यह संदेश देने की कोशिश की गई कि जिस तरह से कबीर अपने दौर में सत्ता से आंख से आंख मिलाकर बात कर रहे थे और धर्म की सत्ता और वर्ण की सत्ता और राजनीतिक सत्ता के खिलाफ जिस भाषा में व जिस निडरता से मुकाबला कर रहे थे आज फिर से उसी तरह की निडरता,साहस और संघर्ष की जरूरत है।
आयोजन मुख्य रूप से कम्युनिस्ट फ्रंट बुनकर कारीगर फ्रंट और प्रेरणा कला मंच के द्वारा आयोजित किया गया था आयोजन में मुख्य रूप से मुख्य रूप से फादर आनंद, मनीष शर्मा, इश्तियाक अहमद, फजलुर रहमान अंसारी, शहजादी बानो, सरफराज, अब्दुल्ला, डॉक्टर अकबर, लाल बहादुर, इरफान उर्फी, इकबाल अहमद, गोपाल साहनी, मोटू साहनी आदि उपस्थित थे।