आंखों में काबा का ख्वाब संजोए, पैदल ही निकले हज करने केरल के शिहाब
2022 में शुरू किया सफर, 2023 में होगा मुकम्मल हज
जानिए कौन कौन से देशों से होकर पहुंचेंगा ये हज यात्री काबा
Sarfaraz Ahmad
Varanasi (dil india live). कौन कहता है कि आसमान में सुराख नहीं हो सकता, एक पत्थर तो तबीयत से उछालो यारो....। किसी शायर ने ठीक ही कहा है कि अगर इंसान ठान ले तो क्या नहीं कर सकता, इंसान चाहे तो आसमान में सुराख भी कर दे। लेकिन ज़रूरत है उस जुनून की, जिसकी बात शायर अपने कलाम में कर रहा है। ऐसे ही एक जूनूनी शख्स हैं केरल के ‘शिहाब’। वो केरल से मक्का तक पैदल ही हज के सफर पर निकल पड़े हैं। आज वो विभिन्न शहरों से होते हुए गुजरात पहुंचे। वहां लोगों ने उन्हें सिर आंखों पर बैठाया। जिस रास्ते से वो गुज़र रहें हैं। उनकी एक झलक पाने को सभी बेताब दिखाई दे रहे हैं।
शिहाब केरला से रवाना हुए और 2023 में हज से पहले मक्का पहुंचना उनका लक्ष्य है, ताकि वह हज का फरीजा अदा कर सकें। शिहाब करेला से निकल कर भारत के कई राज्यों को पार करते हुए पाकिस्तान, ईरान, फिर इराक, फिर कुवैत और अंत में सऊदी अरब के पवित्र मक्का शहर पहुंचेंगे। शिहाब ने अपनी अनोखी पैदल यात्रा के बारे में उनकी तैयारी को लेकर मीडिया से बात की। उन्होने बताया की उन्हे तैयारी करने में लगभग छह महीने का समय लग गया, क्योंकि उन्होंने भारतीय राजधानी नई दिल्ली में देश के दूतावासों के चक्कर लगाना पड़े अपनी यात्रा की परमीशन लेने के लिए। मक्का जाने का फैसला करने के बारे में, शिहाब कहते हैं, “मैंने पैदल ही हज की योजना बनाई रहा है। यह मेरी बचपन की ख्वाहिश थी। अल्हम्दुलिल्लाह। मैं अल्लाह का शुक्रिया अदा करता हूं। मेरी मां की दुआ से अल्लाह ने मेरी यह मन्नत और दुआ पूरी कर दी। सरकार ने मुझे पैदल हज पर जाने की इजाजत दे दी, सभी प्रक्रियाओं को मैंने पूरा कर लिया या। इंशा अल्लाह यात्रा मेरी 2022 में केरल से शुरू हो गई है जो 2023 में काबा में हज मुकम्मल करके पूरी होगी। शिहाब ने बताया कि कई लोगों ने उसकी यात्रा के रास्ते में मदद करने का वादा किया है, यह पुष्टि करते हुए कि यात्रा बहुत लंबी है और इसमें महीनों लगते है।
केरल में एक सुपरमार्केट चलाने वाले शिहाब का लक्ष्य भारत, पाकिस्तान, ईरान, इराक और कुवैत के रास्ते सऊदी अरब जाना है।शिहाब ने इस सैर के लिए आठ महीने तक तैयारी की। वह हर दिन कम से कम 25 किमी पैदल चलते हैं।केंद्रीय विदेश राज्य मंत्री वी मुरलीधरन और कई अन्य लोगों ने शिहाब को हज का ख्वाब पूरा करने में मदद की।वह कर्नाटक, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, राजस्थान, हरियाणा और पंजाब से होते हुए वाघा सीमा के रास्ते पाकिस्तान में प्रवेश करेंगे। शिहाब कहते हैं कि
"मेरा लक्ष्य 280 दिनों में 8,640 किमी चलना है। मैं एक दिन में औसतन 25 किमी पैदल चल रहा हूं। मैं 2023 में हज करना चाहता हूं। मेरे परिवार, दोस्तों और अन्य लोगों ने मेरी यात्रा के लिए अपना सहयोग दिया है, "उन्होंने कहा कि उसके पास एक बेडशीट, कपड़े और एक10 किलो का बैग है। रास्ते में वह मस्जिदों में नमाज अदा करते हैं और रात आराम करने के बाद फिर निकल पड़ते है, हज के सफर में...।"
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